रीवा | अगर इरादा पक्का हो तो हर मुमकिन काम को आसान बनाया जा सकता है। इसका उदाहरण प्रस्तुत किया है रीवा निवासी अकबर खान ने, जिन्होंने एक साधारण साइकिल को बैटरी से चलने वाली मोटर साइकिल बनाई है। पहले इस साइकिल की बैटरी को चार्ज करने में 5 रूपये की खर्च आता था अब इसमें मोटर हब किट लग जाने से यह स्वयं चार्ज होगी तथा चार्जिंग का 5 रूपये भी बचेगा। अकबर खान ने बिना लागत की साइकिल को बाइक में बदलकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आत्मनिर्भरता के संदेश को साकार किया है।
कोरोना महामारी के बाद लॉकडाउन की वजह से समाज का हर वर्ग आर्थिक संकट से जूझ रहा है। पेट्रोल व डीजल के दामों में लगातार हो रही वृद्धि भी लोगों की जेब ढ़ीली कर रही है। लॉकडाउन के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत को आत्मनिर्भर बनाने का सपना संजोया था जिसके बाद प्रधानमंत्री की बातों से प्रेरित होकर रीवा के 40 वर्षीय अकबर खान ने एक साधारण साइकल को मोटर साइकिल में बदल दिया अकबर की सोच ने एक साइकल को मात्र 5 रूपये के खर्च से करीब 90 किलोमीटर तक का सफर तय करने वाली बाइक बना दी इतना ही नही अकबर ने इस मोटर बाइक के पार्ट्स में बदलाव करते हुए उसे बिना किसी खर्च के चलने लायक बना कर इतिहास रच दिया।
इस साइकल बाइक की कुल लागत 14 हजार रूपये है इस मोटर बाइक में हेड लाइट, बैक लाइट, एक्सीलेटर, इंडीकेटर, हॉर्न, ऑन ऑफ स्विच के साथ साथ 12 बोल्ट की 2 बैट्रियों का स्तेमाल किया गया है। इस साइकल बाइक में एक चार्जिंग शॉकिट भी लगाई गई है जिससे बैट्रियों को मात्र आधे घंटे में फुल चार्ज किया जा सकता है इसमें लगी बैट्रियों को चार्ज करने में मात्र 5 रूपये की बिजली खर्च होगी। इतना ही नही अकबर ने अब मोटर बाइक में बदलाव करते हुए इसके पहिये में एक मोटर हब किट लगाया है जिसके बाद अब साइकल बाइक में लगी यह मोटर हब किट खुद बिजली को पैदा कर बैटरी को चार्ज कर देगी और इसे चार्ज करने का खर्च भी बच जाएगा। अकबर की साइकल बाइक को चलाना भी बेहद आसान है और इसकी अधिकतम स्पीड लगभग 40 किलोमीटर प्रति घंटे है जिसे जरूरत के अनुसार कम भी किया जा सकता है। इसके साथ ही यह मोटकर बाईक पूरी तरह से प्रदूषण मुक्त है।
अकबर खान पेशे से ऑटो चालक है और समाज की सेवा करना उनका धर्म है अकबर जरूरत मंद लोगों की मदद के लिए हमेशा तत्पर रहते है। किसी गरीब की मौत होने पर उसके कफन से दफन और अंतिम संस्कार तक की मदद उनके द्वारा की जाती है खुद गरीबी के साए में अपना जीवन यापन कर रहे लोगो की मदद के लिए उन्होंने एक नया तरीका खोज निकाला और लोगो की मदद के लिए एक साधारण साइकल को बिना पेट्रोल और खुद से बिजली पैदा कर चलने वाली साइकल बाइक बना दी। जिससे अब हर गरीब इंसान का सपना भी पूरा हो सकेगा। अकबर खान ने बताया की जो गरीब तबके के छात्र छात्राये स्कूल या कालेज तक पहुच पाने में असमर्थ होते हैं उन्ही की सुविधाओं का ख्याल रखते हुए उन्होंने इस साइकल बाइक का अविष्कार किया है। अकबर खान एक ऐसी कार का सपना लिए हुए बैठे है जो सौर ऊर्जा से चले और उसकी कीमत मात्र 40 हजार रूपये हो। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आत्मनिर्भर भारत अभियान का समर्थन करते हुए रोजगार के नए आयामो को स्थापित करने करने का लक्ष्य लिए अकबर खान शासन की मदद से इस साइकल बाइक को जल्द पेटेंट कराने का ख्वाब देख रहे है।
शिवप्रसन्न शुक्ल
सहायक सूचना अधिकारी
प्रधानमंत्री जी के आत्मनिर्भरता के संदेश को किया साकार |