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WAQF UMMID पोर्टल पर संपत्ति पंजीकरण की समय सीमा! सुप्रीम कोर्ट में 28 अक्टूबर को सुनवाई

Supreme Court to Hear Plea on Waqf Property Registration Deadline Extension on Oct 28 2025. 05 दिसंबर 2025 अंतिम तिथि है। समय पर पंजीकरण न करने पर सजा और जुर्माने का प्रावधान है।

WAQF UMMID: वक्फ संपत्तियों के पंजीकरण (Registration) को लेकर एक बड़ा अपडेट सामने आया है। AIMIM के नेता असदुद्दीन ओवैसी ने सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की है। याचिका में वक्फ वाई-यूजर्स समेत सभी वक्फ संपत्तियों के ‘उम्मीद’ पोर्टल पर अनिवार्य पंजीकरण की समयसीमा बढ़ाने की मांग की गई है। सुप्रीम कोर्ट इस याचिका पर 28 अक्टूबर को सुनवाई करेगा। पंजीकरण के लिए दी गई छह महीने की अनिवार्य समयसीमा समाप्त होने वाली है, जिसके कारण याचिका को तत्काल सूचीबद्ध करने का आग्रह किया गया है।





WAQF UMMID पोर्टल क्या है?

भारत सरकार के अल्पसंख्यक कार्य मंत्रालय ने वक्फ संपत्तियों की सुरक्षा और पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए UMMID पोर्टल (Unified Waqf Management, Empowerment, Efficiency and Development) लॉन्च किया है।

  • पोर्टल का उद्देश्य: यह पोर्टल वक्फ संपत्तियों की जियो-टैगिंग के बाद एक डिजिटल सूची बनाने के लिए केंद्र सरकार द्वारा 6 जून को लॉन्च किया गया था।
  • जियो-टैगिंग: यह कदम वक्फ की जमीनों और भवनों को स्थायी रूप से सुरक्षित रखने के लिए उठाया गया है।
  • सक्रिय तिथि: यह पोर्टल 06 जुलाई 2025 से सक्रिय है।

WAQF UMMID: पंजीकरण की अंतिम समय सीमा

वक्फ संपत्तियों के मुतवल्लियों (Mutawallis) और कॉर्डिनेटरों के लिए पंजीकरण की समयसीमा जानना बहुत महत्वपूर्ण है।

  • अनिवार्य समयसीमा: सभी वक्फ संपत्तियों का विवरण उम्मीद पोर्टल पर 05 दिसंबर 2025 तक अपलोड करना है।
  • अंतिम मौका: संशोधित कानून में वक्फ संपत्तियों के पंजीकरण के लिए छह महीने का समय दिया गया था।
  • सुप्रीम कोर्ट में तर्क: याचिकाकर्ता की ओर से पेश हुए अधिवक्ता निजाम पाशा ने कहा कि फैसले के दौरान पांच महीने बीत चुके हैं।
  • अब पंजीकरण के लिए हमारे पास केवल एक महीना बचा है।
  • सुनवाई की मांग: इसलिए पीठ से याचिका को तत्काल सूचीबद्ध करने की आवश्यकता है।

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WAQF UMMID Alert: Supreme Court to Hear Plea on Waqf Property Registration Deadline Extension on Oct 28.

पंजीकरण न कराने पर क्या होगा?

जो मुतवल्ली या कॉर्डिनेटर समय पर विवरण दर्ज नहीं करेंगे, उनके खिलाफ वक्फ एक्ट के तहत सख्त कार्रवाई की जाएगी।

  • सजा और जुर्माना: नियमों के अनुसार, जानकारी दर्ज न कराने पर छह माह की सजा
  • और ₹20 हजार का जुर्माना लगाया जा सकता है।
  • संपत्ति का दर्जा समाप्त: पंजीकरण न कराने पर संपत्ति का वक्फ दर्जा समाप्त हो जाएगा।
  • पुनः पंजीकरण: बाद में केवल वक्फ ट्रिब्यूनल के आदेश पर ही संपत्ति का पुनः पंजीकरण संभव होगा।
  • अपील: सभी मुतवल्लियों से अपील की गई है कि वे समय रहते अपने अभिलेखों की जांच करें।
  • उम्मीद पोर्टल पर विवरण दर्ज करें, ताकि किसी भी प्रकार की कानूनी कार्यवाही से बचा जा सके।

संशोधित अधिनियम पर सुप्रीम कोर्ट का रुख

शीर्ष अदालत ने 15 सितंबर 2025 को एक अंतरिम आदेश में वक्फ (संशोधन) अधिनियम, 2025 के कुछ प्रमुख प्रविधानों पर रोक लगा दी थी।

  • ‘वक्फ वाई यूजर्स’ प्रविधान: कोर्ट ने यह भी कहा था कि नए कानून में “वक्फ वाई यूजर्स” प्रविधान को हटाने का केंद्र का आदेश प्रथमदृष्टया मनमाना नहीं था।
  • नई याचिका पर विचार: ओवैसी की याचिका के साथ 28 अक्टूबर 2025 को तत्काल सुनवाई के लिए एक और ऐसी ही याचिका का उल्लेख किया गया।
  • पीठ ने कहा कि वह नई याचिका को भी सूचीबद्ध करने पर विचार करेगी।

Official Website: https://wamsi.nic.in or https://waqf.gov.in/wakf/




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